29-Sep-2025
मिग-21 को विदाई
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी
चर्चा में क्यों?
भारतीय वायुसेना (IAF) ने मिकोयान-गुरेविच मिग-21 को विदाई दी, इसी के साथ इसकी छह दशकों से अधिक की सेवा का अंत हुआ।
- यह सोवियत मिकोयान-गुरेविच डिज़ाइन ब्यूरो द्वारा निर्मित एक-इंजन वाला, सिंगल-सीटर, मल्टी-रोल सुपरसोनिक लड़ाकू विमान है।
- वर्ष 1963 में इंटरसेप्टर के रूप में IAF में शामिल हुआ; बाद में इसे ज़मीनी हमले और अन्य भूमिकाओं के लिये उन्नत किया गया; ‘हर मौसम के लिये उपयुक्त’ के रूप में प्रसिद्ध।
- इसके विभिन्न संस्करण रहे– त्रिशूल, विक्रम, बादल, बाइसन, जिन्हें आधुनिक राडार, एवियोनिक्स और हथियार प्रणालियों से लैस किया गया।
- वर्ष 1971 के युद्ध, कारगिल संघर्ष, बालाकोट एयरस्ट्राइक और ऑपरेशन सिंदूर में अहम भूमिका निभाई।
- बार-बार दुर्घटनाग्रस्त होने के कारण इसे ‘फ्लाइंग कॉफिन’ (उड़ता ताबूत) की उपाधि भी मिली।