21-Jul-2025

एडफाल्सीवैक्स वैक्सीन

विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी

चर्चा में क्यों? 

भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (ICMR) ‘मेक इन इंडिया’ पहल के तहत भारत की मलेरिया उन्मूलन रणनीति को समर्थन देने हेतु देश का पहला स्वदेशी दो-चरणीय मलेरिया टीका एडफाल्सीवैक्स विकसित कर रही है।

मुख्य बिंदु 

  • विकासकर्त्ता: ICMR द्वारा डीबीटी-नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ इम्यूनोलॉजी (डीबीटी-एनआईआई), क्षेत्रीय चिकित्सा अनुसंधान केंद्र (भुवनेश्वर) और राष्ट्रीय मलेरिया अनुसंधान संस्थान (NIMR) के सहयोग से।
  • टीका प्रकार: एक पुनः संयोजक काइमेरिक बहुस्तरीय टीका, जो प्लास्मोडियम फाल्सीपेरम (पूर्व-एरिथ्रोसाइटिक और यौन अवस्था) के दो चरणों को लक्षित करता है; यह परजीवी मलेरिया के सबसे घातक रूप के लिये ज़िम्मेदार है।
  • विशिष्ट विशेषता: मौजूदा टीकों के विपरीत, इसका उद्देश्य मानव संक्रमण को रोकना और मच्छरों द्वारा सामुदायिक संचरण को कम करना है।
  • उत्पादन विधि: इसमें लैक्टोकोकस लैक्टिस, एक सुरक्षित खाद्य-ग्रेड जीवाणु, का उपयोग किया गया है।
  • प्रीक्लिनिकल परिणाम: यह टीका व्यापक सुरक्षा, दीर्घकालिक प्रतिरक्षा क्षमता और तापीय स्थिरता (कमरे के तापमान पर 9+ महीने तक कार्यात्मक) को दर्शाता है।
  • वर्तमान स्थिति: यह प्रारंभिक विकास चरण में है तथा अभी तक नैदानिक उपयोग के लिये अनुमोदित नहीं है।

 MCQ के माध्यम से तैयारी 

प्रश्न. एडफाल्सीवैक्स चर्चा में क्यों है? 

(1) यह भारत का पहला स्वदेशी डेंगू टीका है।
(2) यह मेक इन इंडिया पहल के तहत भारत का पहला स्वदेशी दो-चरण वाला मलेरिया टीका है।
(3) यह दुनिया का पहला COVID-19 नाक से दिया जाने वाला टीका है।
(4) यह एक नव विकसित पोलियो टीका है। 

उत्तर: (2) यह मेक इन इंडिया पहल के तहत भारत का पहला स्वदेशी दो-चरण मलेरिया टीका है।